Explanation : सूर-सूर, तुलसी शशि, उडुगन केशवदास। अब के कवि खद्धोत सम, जहं तहं करत प्रकाश।। पंक्ति में यमक अलंकार है। यमक अलंकार की परिभाषा – जब कविता में एक ही शब्द दो या दो से अधिक बार आए और उसका अर्थ हर बार भिन्न हो वहां 'यमक' अलंकार होता है
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