सामान्य हिन्दी प्रश्नोत्तरी

  • ग्रहणी का शुद्ध रूप क्या है?
    ग्रहणी का शुद्ध रूप गृहिणी है। वाक्य रचना की अशुद्धियों का मुख्य कारण होता है-अशुद्ध शब्दों का प्रयोग। हिंदी भाषा सरल और मधुर है जिससे इसे सीखने में आसानी होती है। लेकिन लिखते समय अज्ञान और भ्रम के कारण भाषा में अनेक अशुद्धियाँ हो जाती है। इन्हीं शुद ...Read More
  • कृपा का शुद्ध रूप क्या है?
    कृपा का शुद्ध रूप कृपा है। वाक्य रचना की अशुद्धियों का मुख्य कारण होता है-अशुद्ध शब्दों का प्रयोग। हिंदी भाषा सरल और मधुर है जिससे इसे सीखने में आसानी होती है। लेकिन लिखते समय अज्ञान और भ्रम के कारण भाषा में अनेक अशुद्धियाँ हो जाती है। इन्हीं शुद्ध अ ...Read More
  • अहल्या का शुद्ध रूप क्या है?
    अहल्या का शुद्ध रूप अहल्या है। वाक्य रचना की अशुद्धियों का मुख्य कारण होता है-अशुद्ध शब्दों का प्रयोग। हिंदी भाषा सरल और मधुर है जिससे इसे सीखने में आसानी होती है। लेकिन लिखते समय अज्ञान और भ्रम के कारण भाषा में अनेक अशुद्धियाँ हो जाती है। इन्हीं शुद ...Read More
  • अंताक्षरी का शुद्ध रूप क्या है?
    अंताक्षरी का शुद्ध रूप अन्त्याक्षरी है। वाक्य रचना की अशुद्धियों का मुख्य कारण होता है-अशुद्ध शब्दों का प्रयोग। हिंदी भाषा सरल और मधुर है जिससे इसे सीखने में आसानी होती है। लेकिन लिखते समय अज्ञान और भ्रम के कारण भाषा में अनेक अशुद्धियाँ हो जाती है। इ ...Read More
  • हिंदी का शुद्ध रूप क्या है?
    हिंदी का शुद्ध रूप हिंदी है। वाक्य रचना की अशुद्धियों का मुख्य कारण होता है-अशुद्ध शब्दों का प्रयोग। हिंदी भाषा सरल और मधुर है जिससे इसे सीखने में आसानी होती है। लेकिन लिखते समय अज्ञान और भ्रम के कारण भाषा में अनेक अशुद्धियाँ हो जाती है। इन्हीं शुद्ध ...Read More
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