सीता नवमी 2023 में 29 अप्रैल दिन शनिवार को है। त्रेता युग में दुख, शोक, व्याधि एवं पीड़ा से ग्रस्त-त्रस्त मानव समुदाय सहित सभी जीवों के कल्याण के लिए मिथिला की धरती पर लक्ष्मी जी ने माता सीता के रूप में वैशाख मास के शुक्ल पक्ष की नवमी तिथि को अवतार लिया था। इसीलिए इस दिन को ‘श्री सीता नवमी’ भी कहा जाता है। श्री सीता नवमी का पर्व श्रीराम नवमी के ठीक एक महीने बाद आता है। भक्त इस दिन को व्रत रखकर उपवास करते हैं तथा मां सीता समेत प्रभु श्रीराम, श्री लक्ष्मण एवं भक्त शिरोमणि श्रीहनुमान जी की विधिवत पूजा-अर्चना करते हैं।
मान्यता है कि माता सीता की आराधना करने से जीवन की सभी परेशानियां दूर हो जाती हैं। श्री सीता नवमी के दिन सुहागिनें अपने पति की लंबी आयु के लिए व्रत रखती हैं। माता सीता को उर्वरता, पवित्रता, स्वच्छता एवं शुद्धता का प्रतीक माना जाता है। माता सीता सभी जीवों की जननी यानी माता स्वरूपा हैं। वे अपने भक्तों को आशीर्वाद के रूप में धन, स्वास्थ्य, बुद्धि और समृद्धि आदि प्रदान करती हैं। श्री सीता नवमी को उत्तर प्रदेश के अयोध्या, बिहार के सीता समहथ स्थान, आंध्र प्रदेश के भद्राचलम तथा तमिलनाडु के रामेश्वरम में एक उत्सव की तरह बड़े ही धूमधाम से मनाया जाता है। इस दिन को भक्त श्रीराम दरबार यानी माता सीता, प्रभु श्रीराम, श्री लक्ष्मण एवं भक्त शिरोमणि श्रीहनुमान जी की मूर्तियों को एक रथ में सजा-संवार कर भक्तिपूर्वक यात्रा निकालते हैं।
सीता नवमी कब है?
सीता नवमी 2023 : 29 अप्रैल 2023, शनिवार
सीता नवमी 2024 : 16 मई 2024, गुरुवार
सीता नवमी 2025 : 5 मई 2025, सोमवार
सीता नवमी 2026 : 25 अप्रैल 2026, शनिवार
सीता नवमी 2027 : 14 मई 2027, शुक्रवार
सीता नवमी 2028 : 3 मई 2028, बुधवार
सीता नवमी 2029 : 22 मई 2029, मंगलवार
सीता नवमी 2030 : 11 मई 2030, शनिवार
सीता नवमी 2031 : 1 मई 2031, गुरुवार
सीता नवमी 2032 : 18 मई 2032, मंगलवार
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