बुंदेला सरदार चम्पतराय के पुत्र छत्रसाल को औरंगजेब ने 4000 का मनसब प्रदान करने सहित उसे राजा की उपाधि से सम्मानित किया। इसी समय छत्रसाल ने ओरछा को बुंदेलखंड की राजधानी बनाया। चंदेलों की राजधानी 'खजुराहो' (आधुनिक छतरपुर जिले में स्थित) थी, जहां पर उन्होने विश्व प्रसिद्ध मंदिरों का निर्माण कराया था। ....अगला सवाल पढ़े
मोहाली एक राजघराना है बुंदेलखंड का इतिहासिक राज कराना लोधी क्षत्रिय महाराजाधिराज महा सिंह जूदेव का गढ़ है बुंदेलखंड के बुंदेला छत्रिय वंश का शासक महेंद्र लोधी महाराजा पदम सिंह जूदेव की इतिहासिक राजधानी मोहली वहां का गढ़ दीवान केहरी सिंह जूदेव ने बनवाया था वह लोधी क्षत्रिय नाम से विख्यात हैं 3 जिलों में रहे सागर जबलपुर दमोह एवं नरसिंहपुर चौथा जिला में विख्यात है महाराजाधिराज महा सिंह जूदेव की पत्नी महारानी सरस्वती बाई सती हुई थी सन 1721 मेंफोन का वंशज राजा के रूप में आज भी परिवर्तित है पहली रात की रानी में राजा की परंपरा आज भी निभाई जा रही है राज तिलक एवं दीवान पदवी अस्त्र-शस्त्र किला राजदरबार द्वारा परंपरा चली आ रही है सन 18 सो 42 के बुंदेला विद्रोह में 19 सात किया था हीरापुर के राजा ऐसा है एवं हिंडोरिया के राजा अशोक जूदेव के साथ युद्ध किया गया था तो बुंदेला विद्रोह में जीत हासिल की और उसके बाद सन 18 सो 57 की क्रांति में भी शामिल हुए युद्ध की तैयारियां की 50,000 सेना 20000 घोड़ों के साथ तलवार एवं बंधु के तोप सहित लड़ाई की थी पहली राजघराना राजघराना एवं बजरंग गढ़ के राजा भी साथ में लड़ाई लड़ा करते थे यह चारों परिवार लोधी क्षत्रिय वंश के हैं उनका आज भी एक ही परिवार निभाया जाता है सोने चांदी के आभूषण अस्त्र-शस्त्र राजा साहिब पोशाक एवं उनके कुलदेवी महा माता सिंह वाहिनी की पूजा एवं अर्चना कुलदेवता श्री लोधेश्वर भगवान को साक्षी माना जाता है नव दुर्गा के अष्टमी पूजन अष्टछाप तलवार का पूजन किया जाता है लोधी क्षत्रिय की परंपरा निभाई जाती है राज दरबार में प्रजा को भोजन करवाया जाते हैं एवं वर्तमान समय में महाराजा संजीव सिंह को राजतिलक किया गया है और राजा की परंपरा निभाई जा रही है
Explanation : भारतीय राष्ट्रवाद के जनक राजा राममोहन राय (Raja Ram Mohan Roy) है। सामाजिक एवं धार्मिक आंदोलनों के सूत्रधार राजा राममोहन राय को भारत के नवजागरण का अग्रदूत, अतीत और भविष्य के मध्य सेतु, भारतीय राष्ट्रवाद के जनक, आधुनिक भारत के पित ...Read More
Explanation : भारतीय जागृति का जनक राजाराम मोहन राय (Raja Ram Mohan Roy) को कहा जाता है। इन्हें “आधुनिक भारत के निर्माता” और “आधुनिक भारत के पिता” और “बंगाल पुनर्जागरण के पिता” के नाम से भी जाना जाता था। राजाराम मोहन राय ने अगस्त, 1828 में कलक ...Read More
Explanation : हिटलर जर्मनी का चांसलर वर्ष 1933 में बना तथा इस पद पर वह 30 अप्रैल, 1945 (मृत्यु तक) तक रहा। हिटलर इतिहास के सबसे खतरनाक नेता माने जाते थे जिनके सामने पूरा विश्व कांपता था। हिटलर का जन्म 20 अप्रैल 1889 को ऑस्ट्रिया में हुआ था। ...Read More
Explanation : रामकृष्ण मिशन की स्थापना कलकत्ता के पास हुई थी। इसका मुख्यालय कोलकाता के निकट बेलुड़ में है और इसकी दुनिया में 179 शाखाएं है। रामकृष्ण मिशन की स्थापना 1 मई 1897 को रामकृष्ण परमहंस के परम् शिष्य स्वामी विवेकानन्द ने की। इस मिशन की ...Read More
Explanation : रामकृष्ण मिशन की स्थापना स्वामी विवेकानन्द ने 1 मई, 1897 को की थी, जो रामकृष्ण परमहंस के परम् शिष्य थे। इसका मुख्यालय कोलकाता के निकट बेलूर मठ में है। इस मिशन की स्थापना के केंद्र में वेदांत दर्शन का प्रचार-प्रसार है। रामकृष्ण मि ...Read More
Explanation : ब्रह्म समाज के संस्थापक राजा राममोहन राय थे। इन्होंने उर्दू एवं फारसी की शिक्षा पटना में रह कर प्राप्त की थी। राजा राममोहन राय के पश्चात केशवचंद्र सेन ने ब्रह्म समाज को आगे बढ़ाया। इनके प्रेरणा से पटना एवं गया में ब्रह्म समाज की श ...Read More
Explanation : जुलाई, 1931 में बिहार में समाजवादी दल का गठन जयप्रकाश नारायण, फूलन प्रसाद वर्मा एवं कुछ अन्य लोगों ने मिलकर किया था। इस पार्टी की स्थापना का प्रमुख उद्देश्य यह था कि देश की आर्थिक विकास की प्रक्रिया राज्य द्वार नियंत्रित हो तथा र ...Read More
Explanation : कुम्हरार (Kumhrar) में प्राचीन शहर पाटलिपुत्र के पुरातात्विक अवशेष पाए गए हैं। मौर्य राजधानी पाटलिपुत्र का सम्बन्ध कुम्हरार (Kumhrar) और बलंदीबाग के पुरातात्विक अवशेषों से है। यहाँ की खुदाई 1896 से 1929 तक तीन बार सीए मिल्ज के ने ...Read More
Explanation : बुलंदीबाग पाटलिपुत्र का प्राचीन स्थान था। बुलंदीबाग नामक प्राचीन स्थल मगध के समीप स्थित पाटलिपुत्र के लिए किया जाता है। यहां पर हुए उत्खनन में कुम्हार एवं बुलंदीाग से पाटलिपुत्र से संबंधित अभिलेखीय साक्ष्य मिले हैं। यहाँ की खुदाई ...Read More
Explanation : अमेरिका के स्वतंत्रता संग्राम के दौरान ब्रिटिश सेना का कमांडर चार्ल्स कार्नवालिस था। 4 जुलाई 1776 को, तेरह अमेरिकी कॉलोनियों ने दूसरी बार फिलाडेल्फिया में सम्मेलन किया। थॉमस जेफरसन द्वारा एक पेपर का मसौदा तैयार किया गया था और तेर ...Read More
Web Title : Kis Vansh Ne Orchha Ko Bundelkhand Ki Rajdhani Banaya Tha
मोहाली एक राजघराना है बुंदेलखंड का इतिहासिक राज कराना लोधी क्षत्रिय महाराजाधिराज महा सिंह जूदेव का गढ़ है
बुंदेलखंड के बुंदेला छत्रिय वंश का शासक महेंद्र लोधी महाराजा पदम सिंह जूदेव की इतिहासिक राजधानी मोहली वहां का गढ़ दीवान केहरी सिंह जूदेव ने बनवाया था वह लोधी क्षत्रिय नाम से विख्यात हैं 3 जिलों में रहे सागर जबलपुर दमोह एवं नरसिंहपुर चौथा जिला में विख्यात है
महाराजाधिराज महा सिंह जूदेव की पत्नी महारानी सरस्वती बाई सती हुई थी सन 1721 मेंफोन का वंशज राजा के रूप में आज भी परिवर्तित है पहली रात की रानी में राजा की परंपरा आज भी निभाई जा रही है राज तिलक एवं दीवान पदवी अस्त्र-शस्त्र किला राजदरबार द्वारा परंपरा चली आ रही है सन 18 सो 42 के बुंदेला विद्रोह में 19 सात किया था हीरापुर के राजा ऐसा है एवं हिंडोरिया के राजा अशोक जूदेव के साथ युद्ध किया गया था तो बुंदेला विद्रोह में जीत हासिल की और उसके बाद सन 18 सो 57 की क्रांति में भी शामिल हुए युद्ध की तैयारियां की 50,000 सेना 20000 घोड़ों के साथ तलवार एवं बंधु के तोप सहित लड़ाई की थी पहली राजघराना राजघराना एवं बजरंग गढ़ के राजा भी साथ में लड़ाई लड़ा करते थे यह चारों परिवार लोधी क्षत्रिय वंश के हैं उनका आज भी एक ही परिवार निभाया जाता है सोने चांदी के आभूषण अस्त्र-शस्त्र राजा साहिब पोशाक एवं उनके कुलदेवी महा माता सिंह वाहिनी की पूजा एवं अर्चना कुलदेवता श्री लोधेश्वर भगवान को साक्षी माना जाता है नव दुर्गा के अष्टमी पूजन अष्टछाप तलवार का पूजन किया जाता है लोधी क्षत्रिय की परंपरा निभाई जाती है राज दरबार में प्रजा को भोजन करवाया जाते हैं एवं वर्तमान समय में महाराजा संजीव सिंह को राजतिलक किया गया है और राजा की परंपरा निभाई जा रही है