गागर में अनाज, गंवार का राज का अर्थ और वाक्य प्रयोग

(A) गुरु से चेले का बढ़ जाना
(B) काम होने के पहले ही फल की इच्छा/खयाली पुलाव पकाना
(C) जिस का काम वह देर करे, दूसरा फुर्ती दिखाये
(D) मूर्ख ​थोड़े में इतरा जाते हैं

Answer : मूर्ख ​थोड़े में इतरा जाते हैं

Explanation : गागर में अनाज, गंवार का राज का अर्थ gagar mein anaaj janwar ka raaj है 'मूर्ख ​थोड़े में इतरा जाते हैं।' हिंदी लोकोक्ति गागर में अनाज, गंवार का राज का वाक्य में प्रयोग होगा – मनोहर श्याम ने जीतेन्द्र मोहन से कहा, पचाकर खाना सीखो। दो पैसे क्या कमा लिये कि दुनिया ही भूल गये। सच ही कहा है 'गागर में अनाज, गंवार का राज'। हिन्दी मुहावरे और लोकोक्तियाँ में 'गागर में अनाज, गंवार का राज' जैसे मुहावरे कई प्रतियोगी परीक्षाओं जैसे संघ लोक सेवा आयोग, कर्मचारी चयन आयोग, बी.एड., सब-इंस्पेटर, बैंक भर्ती परीक्षा, समूह 'ग' सहित विभिन्न विश्वविद्यालयों की प्रवेश परीक्षाओं के लिए काफी महत्वपूर्ण साबित होते है।
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Useful for : UPSC, State PSC, SSC, Railway, NTSE, TET, BEd, Sub-inspector Exams
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Web Title : Gagar Mein Anaaj Janwar Ka Raaj