(A) परेशान व्यक्ति को और अधिक परेशान करना (B) पुरानी बातें याद करना (C) कम शब्दों में अधिक कहना (D) सिद्धांतहीन होना
(A) बिलकुल नष्ट कर देना (B) जान लेने पर उतारू होना (C) शर्मिंदा होना (D) जोश में आना, क्रोधित होना
(A) चुगली करना (B) एकमद मूर्ख होना (C) बुरे वचन कहना (D) मारा-मारा फिरना
(A) बहुत प्रिय होना (B) मुसीबत खड़ी करना (C) बने बनाए काम को बिगाड़ना (D) कुछ प्रभाव न होना
(A) हरसंभव प्रत्यन्न करना (B) तैयार होना (C) सिद्धांतहीन होना (D) भेद खुलना
(A) आवश्यकता से कम वस्तु होना (B) समान दृष्टि से देखना (C) कम शब्दों में अधिक कहना (D) एकता में शक्ति होना
(A) किसी पर दोष लगाना (B) पुरानी बातें याद करना (C) थोड़ा सहारा पाकर पूरा अधिकार जमाना (D) नियम-विरुद्ध कार्य करना
(A) दृष्ट से दुष्टता का व्यवहार करना (B) नष्ट-भ्रष्ट कर देना (C) जोश में आना, क्रोधित होना (D) कभी-कभी दिखाई देना
(A) बहुत शोर करना (B) जान लेने पर उतारू होना (C) धोखेबाज होना (D) वश में होना
(A) बहुत अधिक अंतर होना (B) गुस्से से भर जाना (C) अत्यधिक क्रोध करना (D) बिलकुल नष्ट कर देना
(A) मारा-मारा फिरना (B) धोखा देना (C) बहुत ऊंचा होना (D) बहुत परिश्रम करना
(A) बुरे वचन कहना (B) किसी को देखने की तीव्र इच्छा होना (C) बदल जाना (D) बहुत प्रिय
(A) अपना नुकसान खुद करना (B) अपनी प्रशंसा स्वयं करना (C) चुगली करना (D) होश आना
(A) बुद्धि भ्रष्ट होना (B) अपना मतलब निकालना (C) कुछ प्रभाव न होना (D) शर्मिंदा होना
(A) मुसीबत खड़ी करना (B) असहाय व्यक्ति का एकमात्र सहारा होना (C) मूर्ख (D) कुछ समझ में न आना